सोनू का कहना है मनरेगा में रोजगार मिलने से जीवन यापन हो गया आसान
दमोह : कोरोना वायरस से संक्रमण के बचाव के उद्देश्य से प्रवासी मजदूर अब अपने घर को वापिस लौट आये है, उन्हीं में से जनपद पंचायत हटा की ग्राम पंचायत पांजी के 25 वर्षीय प्रवासी मजदूर सोनू/क्षमाधर रैकवार जावकार्डधारी है, सोनू एवं उनके भाई अनिल रैकवार पांजी में ही निर्मल नीर कूप निर्माण में कार्य कर रहे है। कहते हैं मनरेगा में रोजगार मिलने से जीवन यापन अब आसान हो गया है। बाहर से आने के बाद मेरे परिवार एवं मेरे भाई के परिवार को ग्राम पंचायत द्वारा बेरोजगारी की स्थति में काम दिया गया। जिससे मेरे जीवन यापन मे सहायता मिली।
सोनू का कहना है मैं गुजरात के जामनगर में रेपिड ट्यूब निर्माण कंपनी में काम कर रहा था। परंतु कोरोना महामारी के कारण मैं 17 मार्च 2020 को अपने ग्राम पांजी आ गया। जहां मुझे 14 दिन तक कोरेनटाईन किया गया। रोजगार जाने के कारण जीवन यापन हेतु मुझे कार्य की आवश्यकता थी, मैंने पंचायत के ग्राम रोजगार सहायक से रोजगार हेतु संपर्क किया, रोजगार सहायक द्वारा मुझे एवं मेरे भाई अनिल रैकवार को निर्मल नीर कूप निर्माण में रोजगार दिया गया। निर्मल नीर कूप जिसका वर्क कोड क्रमांक 1711001033/WC/22012034496261 है। जिसमें मैं एवं मेरे भाई अनिल रैकवार द्वारा लगातार काम किया जा रहा है।
मेरा भाई अनिल रैकवार भी जामनगर गुजरात की नट बोल्ट बनाने की कंपनी में कार्य करता था। उसे भी बापस आने के बाद कोरेनटाईन किया गया एवं कोरेनटाईन अवधि उपरांत निर्मल नीर कूप निर्माण में लगातार रोजगार दिया गया। इस कार्य में 15 मजदूरों को रोजगार दिया गया। जिसमें 5 प्रवासी मजदूरों को भी रोजगार दिया गया। भविष्य में ऐसे ही लगातार गांव में काम मिलता रहा तो बाहर ना जाकर यहीं काम करेगें। रोजगार सहायक द्वारा आश्वस्त कराया गया कि अब आप लोग को बाहर काम पर जाने की आवश्यकता ही नही पड़ेगी। आपको लगातार पंचायत में ही रोजगार उपलब्ध कराया जायेगा। हम ग्राम पंचायत के बहुत आभारी हैं।