नर्मदा अवार्ड के प्रावधानों का पालन करने के लिये प्रतिबद्ध है मध्यप्रदेश : मंत्री श्री बघेल

नर्मदा अवार्ड के प्रावधानों का पालन करने के लिये प्रतिबद्ध है मध्यप्रदेश : मंत्री श्री बघेल
Spread the love

मध्यप्रदेश सरकार ने गुजरात सरकार से आग्रह किया है कि सरदार सरोवर बाँध को पूर्ण जलाशय स्तर तक भरने के अपने निर्णय पर मानवीय दृष्टिकोण से पुनर्विचार करे। मध्यप्रदेश के नर्मदा घाटी विकास मंत्री श्री सुरेन्द्र सिंह बघेल ने गुजरात के मुख्यमंत्री द्वारा इस संबंध में हाल ही में की गई टिप्पणी के जवाब में कहा है कि नर्मदा जल विवाद न्यायाधिकरण के प्रावधानों का पालन करने के लिये मध्यप्रदेश सरकार पूरी तरह प्रतिबद्ध है। उन्होंने बताया कि अवार्ड में गुजरात राज्य के लिये जितनी जल राशि निर्धारित की गई है, मध्यप्रदेश उतनी जल राशि पूर्व में भी प्रदाय करता रहा है। आगे भी प्रदाय करता रहेगा।नर्मदा घाटी विकास मंत्री श्री बघेल ने कहा है कि जलाशय क्षेत्र में अभी भी निवास कर रहे लगभग 6000 परिवारों के विस्थापन की कार्यवाही प्रचलन में है । वर्तमान में 76 गाँव में कई परिवार बसे हैं। इन परिवारों को तत्काल विस्थापित किया जाना संभव नहीं है।श्री बघेल ने बताया कि सरदार सरोवर बाँध से 1200 मेगावाट नदी तल विद्युत गृह से मध्यप्रदेश के हिस्से के जल से विद्युत उत्पादन करना नर्मदा ट्रिब्यूनल अवार्ड के आधार पर गुजरात सरकार के लिये बंधनकारी है। इसके बावजूद गुजरात सरकार द्वारा विगत दो वर्षों से 1200 मेगावाट विद्युत उत्पादन नहीं किया जा रहा है। इससे मध्यप्रदेश के हित प्रभावित हुए हैं। श्री बघेल ने कहा कि विगत 15 अप्रैल को नई दिल्ली में सभी राज्यों की बैठक में मध्यप्रदेश ने अपना विरोध दर्ज करवाया उन्होंने कहा कि नर्मदा नियंत्रण प्राधिकरण इंदौर में भी 18 जुलाई की बैठक में मध्यप्रदेश के पक्ष को नजरअंदाज किया गया। श्री बघेल ने कहा कि सरदार सरोवर जलाशय से प्रभावित परिवारों के हितों के संरक्षण के लिये किये गये संवाद को राजनैतिक दृष्टिकोण से नहीं देखा जाना चाहिये।

Admin

Admin

9909969099
Right Click Disabled!