दिल्ली के रिहायशी इलाकों में फिलहाल किसी को पार्किंग शुल्क वसूलने की इजाजत नहीं: SC

सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि दिल्ली के रिहायशी इलाकों में फिलहाल किसी को भी पार्किंग शुल्क वसूलने की इजाजत नहीं दी है। दरअसल इस मामले में पर्यावरण प्रदूषण नियंत्रण अथॉरिटी (ईपीसीए) के सुझाव पर दिल्ली सरकार के विरोध पर सुप्रीम कोर्ट ने यह टिप्पणी की है। जस्टिस अरुण मिश्रा और जस्टिस दीपक गुप्ता की पीठ के समक्ष पेश दिल्ली सरकार के वकील ने ईपीसीए के सुझाव पर आपत्ति जताई। उल्लेखनीय है कि ईपीसीए ने सुझाव दिया था कि आरडब्ल्यूए से विचार-विमर्श के बाद नागरिकों से मासिक आधार पर एकमुश्त पार्किंग शुल्क लिया जाए। सरकार की आपत्ति पर पीठ ने कहा कि हमने अभी किसी को भी किसी भी व्यक्ति से कुछ भी शुल्क वसूलने की अनुमति नहीं दी है। ईपीसीए ने सुप्रीम कोर्ट में दाखिल अपनी रिपोर्ट में कहा है कि दक्षिण दिल्ली नगर निगम ने लाजपत नगर सेंट्रल मार्केट और उससे लगते रिहायशी इलाकों में पायलट प्रोजेक्ट के तहत पार्किंग क्षेत्र प्रबंधन की पहल की है। वहीं प्रदूषण के मामले में सुप्रीम कोर्ट को मदद करने वाली अमाइकस क्यूरी अपराजिता सिंह ने पीठ को बताया कि दिल्ली के तीनों नगर निगम राजधानी में यह पायलट प्रोजेक्ट चलाने पर राजी हैं। ईपीसीए की रिपोर्ट पर सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली सरकार से जवाब मांगा था।