PK की जमानत याचिका पर कोर्ट ने की सुनवाई

पटना
बिहार में पटना की एक सत्र अदालत ने आपराधिक षड्यंत्र के तहत की गई धोखाधड़ी, जालसाजी एवं विश्वासघात के मामले में जदयू से निष्कासित नेता और चुनावी रणनीतिकार प्रशांत किशोर की अग्रिम जमानत याचिका पर मंगलवार को सुनवाई की। इस दौरान कोर्ट ने पीके को किसी तरह की अंतरिम राहत देने से इनकार कर दिया। वहीं पुलिस को उनके खिलाफ इकट्ठा किए गए ब्योरेवार सबूत की मांग की।
जिला एवं सत्र न्यायाधीश रुद्रप्रकाश मिश्रा की अदालत में प्रशांत किशोर की ओर से एक याचिका दाखिल कर मामले में अग्रिम जमानत की सुविधा दिए जाने की मांग की गई थी। सुनवाई के दौरान अदालत ने पुलिस को मामले की कांड दैनिकी पेश करने का आदेश देते हुए 7 मार्च 2020 की अगली तिथि निश्चित की और अर्जी पर आगे की सुनवाई के लिए अभिलेख अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश प्रजेश कुमार की अदालत को सौंप दिया।
गौरतलब है कि शाश्वत गौतम नाम के एक कथित कांग्रेस कार्यकर्ता ने पटना के पाटलिपुत्र थाने में 25 फरवरी 2020 को किशोर और एक अन्य व्यक्ति ओशामा खुर्शीद के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज करवाई थी। प्राथमिकी में कहा गया है कि शिकायतकर्ता ने बिहार के आगामी चुनाव के लिए बौद्धिक सामग्री इकट्ठा की और ‘बिहार की बात’ के नाम से लोगो के साथ वेबसाइट भी निबंधित करवाई। प्राथमिकी में कहा गया है कि ओशामा खुर्शीद, जो शिकायतकर्ता के सहयोगी के रूप में कार्य कर रहा था ने डाटा चुराकर प्रशांत किशोर को सौंप दिया, जिन्होंने उसे ‘बात बिहार की’ नाम से वेबसाइट का निबंधन करवाकर उसे अपने नाम कर लिया।