धारा 370 पर किसी के मातम मनाने या विरोध करने का कोई असर नहीं होगा: राम माधव

जम्मू:
भाजपा के राष्ट्रीय महासचिव राम माधव ने कहा कि अनुच्छेद 370 अब कभी लौटने वाला नहीं है। अनुच्छेद को लेकर किसी के मातम मनाने या विरोध करने का कोई असर नहीं होने जा रहा है। जम्मू क्लब में डॉ. श्यामा प्रसाद मुखर्जी न्यास की ओर से विलय दिवस पर आयोजित कार्यक्रम में मुख्य वक्ता राम माधव ने कहा कि पंडित जवाहर लाल नेहरू ने अलोकतांत्रिक तरीके से जम्मू-कश्मीर में अनुच्छेद 370 लागू करवाया था। मोदी सरकार ने लोकतांत्रिक तरीके से अनुच्छेद 370 और 35 ए हटाने का साहस दिखाया। राम माधव ने कहा कि तत्कालीन कांग्रेस वर्किंग कमेटी तक ने नेहरू के फैसले का फैसले का विरोध किया था। सरदार पटेल पर नेहरू ने दबाव बनाया और दूसरी बार कांग्रेस वर्किंग कमेटी की बैठक बुलाई गई।
अनुच्छेद 370 का प्रस्ताव पास करवाया गया। कहा, नेहरू ने शेख अब्दुल्ला से मित्रता के चलते अलोकतांत्रिक तरीके से अनुच्छेद 370 लागू किया। इस फैसले से जम्मू-कश्मीर के लोग सात दशक तक दोहरी नागरिकता में रहे। कहा, डॉ. श्यामा प्रसाद मुखर्जी और पंडित प्रेम नाथ डोगरा के सपनों को मोदी सरकार ने साकार किया है। महाराजा हरि सिंह की कल्पना में 370 और 35 ए कतई नहीं थे। महाराजा ने देश की अन्य 560 रियासतों की तर्ज और शर्तों पर ही देश के साथ विलय किया था।
राम माधव ने कहा कि कश्मीरियत इंसानियत और हिंदोस्तानियत से अलग नहीं हो सकती। लाखों कश्मीरी पंडितों को उनके घर से बाहर निकालना क्या कश्मीरियत है। डोगरा समुदाय की उपेक्षा और एससी, एसटी और महिलाओं को उनके अधिकार नहीं देना क्या कश्मीरियत है।